सीधे मुख्य सामग्री पर जाएं

कांग्रेस द्वारा आरएसएस प्रायोजित कार्यक्रम में न जाने का निर्णय स्वतंत्रा आंदोलन के मूल्यों के अनुरूप है- शाहनवाज़ आलम

 



लखनऊ, 11 जनवरी 2024। अल्पसंख्यक कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष शाहनवाज़ आलम ने कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे और सोनिया गाँधी द्वारा अयोध्या में आरएसएस और भाजपा आयोजित कार्यक्रम का निमंत्रण अस्वीकार करने को स्वतंत्रता आंदोलन के इतिहास और मूल्यों के अनुरूप बताया है।

कांग्रेस मुख्यालय से जारी प्रेस विज्ञप्ति में शाहनवाज़ आलम ने कहा कि स्वतंत्रता आंदोलन के समय से ही कांग्रेस धर्म के राजनीतिक इस्तेमाल का विरोध करती रही है। मुस्लिम लीग और हिन्दू महासभा से उसके विरोध का मुख्य आधार ही इन दलों द्वारा धर्म का राजनीतिक इस्तेमाल किया जाना था। इसीलिए सुभाष चंद्र बोस ने कांग्रेस अध्यक्ष बनने पर 1938 में यह नियम बना दिया था कि मुस्लिम लीग और हिन्दू महासभा के सदस्य कांग्रेस के सदस्य नहीं बन सकते। सोनिया गांधी और खड़गे जी द्वारा आरएसएस और भाजपा द्वारा कराए जा रहे आयोजन में न जाने का निर्णय उसी परम्परा के अनुरूप है।

शाहनवाज़ आलम ने कहा की सेकुलर राज्य व्यवस्था में संवैधानिक पदों पर बैठे लोगों का धार्मिक आयोजनों का नेतृत्व करना स्वतंत्रता आंदोलन के मूल्यों के खिलाफ़ है। उन्होंने कहा कि मोदी सरकार को आधुकनिक भारत के शिल्पकार पंडित जवाहर लाल नेहरू के उस प्रसंग से सीख लेनी चाहिए जिसमें उन्होंने तुर्की दौरे पर जा रहे मौलाना आज़ाद के तुर्की के राष्ट्रपति को क़ुरान भेंट करने की योजना से असहमति जताते हुए उन्हें भारत का संविधान भेंट करने की सलाह दी थी। नेहरू का मत था कि धार्मिक ग्रंथों के बजाए हमारा संविधान वो सबसे विशिष्ट भेंट है जो हम दुनिया को दे सकते हैं। 

शाहनवाज़ आलम ने कहा कि आज जब शासकीय मशीनरी के दुरूपयोग से संविधान विरोधी हिंदुत्ववादी नैरेटिव प्रचारित किया जा रहा है तब 12 मई 1940 को बंगाल के झाड़ग्राम में दिया गया नेता जी सुभाषचंद्र बोस का भाषण हमें याद करना चाहिए। जिसमें उन्होंने कहा था कि "हिंदू महासभा ने त्रिशूलधारी संन्यासी और संन्यासिनों को वोट माँगने के लिए जुटा दिया है। त्रिशूल और भगवा लबादा देखते ही हिंदू सम्मान में सिर झुका देते हैं। धर्म का फ़ायदा उठाकर इसे अपवित्र करते हुए हिंदू महासभा ने राजनीति में प्रवेश किया है। सभी हिंदुओं का कर्तव्य है कि इसकी निंदा करें। ऐसे गद्दारों को राष्ट्रीय जीवन से निकाल फेंकें। उनकी बातों पर कान न दें"। 



टिप्पणियाँ

इस ब्लॉग से लोकप्रिय पोस्ट

वक़्फ़ संशोधन बिल के विरोधियों को लखनऊ पुलिस द्वारा भेजा गया नोटिस असंवैधानिक, सुप्रीम कोर्ट ले एक्शन- शाहनवाज़ आलम

  नयी दिल्ली, 11 अप्रैल 2025 . कांग्रेस के राष्ट्रीय सचिव शाहनवाज़ आलम ने उत्तर प्रदेश पुलिस पर वक़्फ़ संशोधन विधेयक के खिलाफ विचार रखने वाले नागरिकों के संविधान प्रदत्त अभिव्यक्ति की आज़ादी और विरोध करने के मौलिक अधिकारों के हनन करने का आरोप लगाया है. उन्होंने सुप्रीम कोर्ट से अपने फैसलों की अवमानना पर स्वतः संज्ञान लेकर दोषी पुलिस अधिकारियों के खिलाफ़ कार्यवाई की मांग की है. शाहनवाज़ आलम ने जारी प्रेस विज्ञप्ति में कहा है कि लखनऊ के कई नागरिकों को लखनऊ पुलिस द्वारा उनकी तरफ से वक़्फ़ संशोधन विधेयक के खिलाफ़ होने वाले संभावित प्रदर्शनों में शामिल होने का अंदेशा जताकर उन्हें नोटिस भेजा गया है. जबकि अभी नागरिकों की तरफ से कोई विरोध प्रदर्शन आयोजित हुआ भी नहीं है. सबसे गम्भीर मुद्दा यह है कि इन नोटिसों में नागरिकों को अगले एक साल तक के लिए उनसे शांति भंग का खतरा बताते हुए 50 हज़ार रुपये भी जमा कराने के साथ इतनी धनराशि की दो ज़मानतें भी मांगी जा रही हैं. शाहनवाज़ आलम ने कहा कि यूपी पुलिस यह कैसे भूल सकती है कि उसकी यह कार्यवाई संविधान के अनुच्छेद 19 का उल्लंघन है जो नागर...

इंडिया गठबंधन की सफलता में अल्पसंख्यकों की सबसे बड़ी भूमिका- शाहनवाज़ आलम

  लखनऊ, 12 जून 2024 . लोकसभा चुनाव में भले जीत एनडीए की हुई हो लेकिन राहुल गाँधी और प्रियंका गाँधी को देश ने नेता माना है. इंडिया गठबंधन को मिली सफलता में अल्पसंख्यक समुदाय खासकर मुस्लिम समुदाय का सबसे बड़ा रोल है जिसे अल्पसंख्यक कांग्रेस ने अंजाम दिया. ये बातें प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष अजय राय ने अल्पसंख्यक कांग्रेस द्वारा आयोजित आभार और चुनाव समीक्षा बैठक में कहीं. बैठक को संबोधित करते हुए अल्पसंख्यक कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष शाहनवाज़ आलम ने कहा कि अल्पसंख्यक वर्ग के साथ दलित, पिछड़े और अति पिछड़े वर्गों ने राहुल और प्रियंका गाँधी के सामाजिक न्याय, सीएए- एनआरसी विरोधी स्टैंड, जातिगत जनगणना, आरक्षण पर लगे 50 प्रतिशत की पाबंदी को हटाने के लिए किये गए वादों से प्रभावित होकर वोट दिया. उन्होंने कहा कि कांग्रेस इन तबकों के सवालों पर लगातार संघर्ष करती रहेगी.  शाहनवाज़ आलम ने कहा कि सीएसडीएस के आंकड़ों से यह साबित हुआ है कि पूरे देश में मुसलमान, दलित और पिछड़े कांग्रेस के मुख्य बेस वोटर रहे. वहीं कथित ऊँची जातियों का 70 प्रतिशत वोट भाजपा को गया. इस सवर्ण वोट बैंक को कां...

इफ्तार पार्टियों का आयोजन लगातार जारी।

  सीकर-राजस्थान।        जनपद मे माहे रमजान शुरू होने के साथ ही अनेक सामाजिक व शेक्षणिक संस्थाओं के अलावा व्यक्तिगत लोगो द्वारा इफ्तार का आयोजन का सीलसीला जारी है।    इस सीलसीले के तहत सीकर शहर मे आज इतवार को सीकर में पंचायत शेखावाटी लीलगरान और युवा कमेटी की तरफ से रोजा इफ्तार पार्टी का आयोजन सय्यदा मस्जिद फतेहपुर रोड़ भैरुपुरा कच्चा रास्ता सीकर में किया गया। ,जिसमे सैकड़ों रोजेदारों ने शिरकत की और प्रदेश में अमन चैन की दुआ मांगी,इफ्तार के बाद मगरिब की नमाज पढ़ी गई।