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हाई कोर्ट जयपुर ने बम बलास्ट आरोपियों को किया बरी किया। जांच ऐजेंसियों पर कोर्ट ने सवाल खड़े किये

           ।अशफाक कायमखानी।

जयपुर।
        जयपुर सीरियल बम ब्लास्ट केस में राजस्थान हाई कोर्ट ने आरोपियों को बरी कर दिया है. इससे राजस्थान सरकार को बड़ा झटका लगा है। इस मामले में डेथ रेफरेंस समेत दोषियों की ओर से पेश की गई 28 अपीलों पर बुधवार को फैसला सुनाया गया है. हाईकोर्ट ने दोषियों को बड़ी राहत देते हुए उनकी अपील स्वीकार कर ली है। न्यायमूर्ति पंकज भंडारी और न्यायमूर्ति समीर जैन की खंडपीठ ने यह फैसला सुनाया. हाईकोर्ट में करीब 48 दिनों तक डेथ रेफरेंस पर सुनवाई चली।कोर्ट ने बुधवार को सभी पक्षों की मौखिक दलीलें सुनने के बाद फैसला सुनाया। हाईकोर्ट ने सलमान का केस जुवेनाइल बोर्ड को भेज दिया है। जबकि सैफ, सैफुर रहमान और सरवर आजमी को बरी कर दिया गया है। कोर्ट ने कहा कि जांच अधिकारी को कानूनी जानकारी नहीं है। कोर्ट ने जांच अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई के लिए भी कहा है। निचली अदालत ने इससे पहले सैफ, सैफुर रहमान, सलमान और सरवर आजमी को मौत की सजा सुनाई थी।

एटीएस को बताया कि उसने विश्वसनीय सबूत नहीं दिए
 

हाई कोर्ट ने एटीएस से कहा कि उसने विश्वसनीय सबूत नहीं दिए। साक्ष्य को संक्षिप्त रूप में प्रस्तुत किया गया है। इसलिए कोर्ट ने मामले में सभी सबूतों को खारिज कर दिया। हाईकोर्ट ने जयपुर ब्लास्ट मामले के जांच अधिकारी को भी कोर्ट बुलाया। जयपुर सीरियल बम ब्लास्ट मामले में इससे पहले ट्रायल कोर्ट ने 5 आरोपियों को फांसी की सजा सुनाई थी. इनमें मुख्य आरोपी सैफुर रहमान, मोहम्मद सलमान, मोहम्मद शैफ उर्फ कैरियन, मोहम्मद सरवर और शाहदाब अहमद शामिल हैं।

जयपुर शहर में आठ जगहों पर बम धमाके हुए।

 

उल्लेखनीय है कि 13 मई 2008 को जयपुर शहर में आठ जगहों पर सिलसिलेवार बम विस्फोट किए गए थे। इन धमाकों में कुल 176 लोग घायल हुए थे। जबकि कई लोग अकाल मौत के शिकार हो गए थे। जयपुर में दहला देने वाले सैफुर रहमान, सरवर आजमी, मोहम्मद सैफ और सलमान को घटना के 11 साल बाद निचली अदालत ने साल 2019 में मौत की सजा सुनाई थी. इन लोगों पर साइकिल में बम फिट कर सीरियल ब्लास्ट करने का आरोप था। जयपुर में ये बम धमाके चांदपोल हनुमान मंदिर, छोटी चौपड़, सांगानेरी गेट, माणक चौक थाना क्षेत्र, मनिहार का रास्ता इलाके, रामचंद्र मंदिर और जौहरी बाजार इलाके में किए गए.

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