सीधे मुख्य सामग्री पर जाएं

राजस्थान ब्यूरोक्रेसी में कभी भी बडा बदलाव हो सकता है। जयपुर कलेक्टर नेहरा सहित कुछ जिला कलेक्टर की विदाई तय। आईएएस कमरुल जमन चोधरी-इकबाल खान व रश्मि खान मे से दो को जिला कलेक्टर पद पर लगाने की सम्भावना।


        ।अशफाक कायमखानी।
जयपुर।     
                                                                                                                                     

राजस्थान मे आज पांच जनवरी शामको मतदाता सूचियों के पुनरीक्षण की वजह से आईएएस-आरएएस अफसरों के तबादले पर लगी पाबंदी हटने के बाद अब किसी भी समय ब्यूरोक्रेसी मे बदलाव की खबर आ सकती है।5 जनवरी तक मतदाता सूचियों के पुनरीक्षण के चलते कलेक्टर- एसडीएम और इस कार्यक्रम से सीधे जुड़े अफसरों के तबादलों पर रोक लगी होने की वजह से गहलोत सरकार ने नए वर्ष में आईएएस अफसरों को प्रमोशन देकर कुछ अफसरों को इधर से उधर तो किया है पर बडा बदलाव अब देखनें को मिलेगा। था। जिसके तहत आईएएस-आरएएस अफसरों की बड़ी तबादला सूची आने का इंतजार है।तबादला सूची  मे जयपुर कलेक्टर अंतर सिंह नेहरा सहित कुछ अन्य कलेक्टर का तबादला तय माना जा रहा है।कुछ अधिकारियों के कामकाज से मुख्यमंत्री खुश नही बताते है एवं एक दर्जन आईएएस अफसरों के पास अतिरिक्त चार्ज है।
             राजस्थान के मुख्य निर्वाचन अधिकारी प्रवीण गुप्ता 5 जनवरी को शाम 4.45 बजे मतदाता सूचियों का अंतिम प्रकाशन करेंगे। इसके साथ ही राजस्थान में तबादलों पर लगी रोक हट जाने के साथ ही तबादला सूची आने की उम्मीदे बढ गई है। राजस्थान की जनता के लिए नीति-नियम बनाने वाले शासन सचिवालय में मात्र 4 अतिरिक्त मुख्य रैंक (एसीएस) के अधिकारी शामिल है। इन अधिकारियों के पास भी आधा दर्जन विभागों का अतिरिक्त प्रभार है। आईएएस आनंद कुमार, अखिल अरोड़ा, सुबोध अग्रवाल, गायत्री राठौड़ और समित शर्मा अतिरिक्त प्रभार के बोझ तले दबे हैं। इससे कामकाज प्रभावित हो रहा है। इसके अलावा सचिव स्तर के अधिकारियों के पास भी एक से अधिक प्रभार है। जनवरी महीने में 3 आईएएस मुख्य सचिव निरंजन आर्य, उच्च एवं तकनीकी शिक्षा के सचिव नारायण लाल मीणा और श्रीगंगानगर के कलेक्टर जाकिर हुसैन सेवानिवृत्त होंगे। इन सभी कारणों की वजह से गहलोत सरकार ने तबादला करने की तैयारी कर ली है। क्योंकि अभी तक राज्य सरकार के निर्वाचन विभाग की रोक की वजह से हाथ बंधे हुए थे।
         अनेक विधायक दो दर्जन तहसीलों में लगे उपखंड अधिकारियों से बेहद नाराज चल रहे हैं। इन अधिकारियों की कार्यप्रणाली से नाराज विधायक सीएम अशोक गहलोत को कई बार हटाने के लिए चिट्टी तक लिख चुके हैं। विधायकों का कहना है कि अफसरों के सुस्त रवैये के कारण राज्य सरकार की लोक कल्याणकारी योजनाओं का लाभ अंतिम छोर बैठे व्यक्ति को नहीं मिल पा रहा है। उपखंड अधिकारी ऐंठ में रहते हैं। पर्यटन मंत्री विश्वेंद्र सिंह और सवाईमाधोपुर के विधायक दानिश अबरार कई दफा खुलकर अपनी नाराजगी से सीएम गहलोत को अवगत करा चुके हैं। राजस्थान में सियासी संकट में गहलोत का साथ देने वाले अनेक विधायक भी अप अपने यहां लगे उपखंड अधिकारियो को बदलवाना चाहते है।
           राजस्थान मे श्रीगंगानगर जिला कलेक्टर जाकीर हुसैन के इसी माह के आखिर मे सेवानिवृत्त होने व झूंझुनू कलेक्टर यूडी खान के तबादले के चलते हाल ही मे राजस्थान प्रशासनिक सेवा से तरक्की पाकर भारतीय प्रशासनिक सेवा के अधिकारी बने इकबाल खान व उनकी पत्नी रश्मि खान व जोधपुर जेडीसी कमरुल जमा चोधरी मे से दो को जिला कलेक्टर पद पर लगाने की सम्भावना।

टिप्पणियाँ

इस ब्लॉग से लोकप्रिय पोस्ट

वक़्फ़ संशोधन बिल के विरोधियों को लखनऊ पुलिस द्वारा भेजा गया नोटिस असंवैधानिक, सुप्रीम कोर्ट ले एक्शन- शाहनवाज़ आलम

  नयी दिल्ली, 11 अप्रैल 2025 . कांग्रेस के राष्ट्रीय सचिव शाहनवाज़ आलम ने उत्तर प्रदेश पुलिस पर वक़्फ़ संशोधन विधेयक के खिलाफ विचार रखने वाले नागरिकों के संविधान प्रदत्त अभिव्यक्ति की आज़ादी और विरोध करने के मौलिक अधिकारों के हनन करने का आरोप लगाया है. उन्होंने सुप्रीम कोर्ट से अपने फैसलों की अवमानना पर स्वतः संज्ञान लेकर दोषी पुलिस अधिकारियों के खिलाफ़ कार्यवाई की मांग की है. शाहनवाज़ आलम ने जारी प्रेस विज्ञप्ति में कहा है कि लखनऊ के कई नागरिकों को लखनऊ पुलिस द्वारा उनकी तरफ से वक़्फ़ संशोधन विधेयक के खिलाफ़ होने वाले संभावित प्रदर्शनों में शामिल होने का अंदेशा जताकर उन्हें नोटिस भेजा गया है. जबकि अभी नागरिकों की तरफ से कोई विरोध प्रदर्शन आयोजित हुआ भी नहीं है. सबसे गम्भीर मुद्दा यह है कि इन नोटिसों में नागरिकों को अगले एक साल तक के लिए उनसे शांति भंग का खतरा बताते हुए 50 हज़ार रुपये भी जमा कराने के साथ इतनी धनराशि की दो ज़मानतें भी मांगी जा रही हैं. शाहनवाज़ आलम ने कहा कि यूपी पुलिस यह कैसे भूल सकती है कि उसकी यह कार्यवाई संविधान के अनुच्छेद 19 का उल्लंघन है जो नागर...

इफ्तार पार्टियों का आयोजन लगातार जारी।

  सीकर-राजस्थान।        जनपद मे माहे रमजान शुरू होने के साथ ही अनेक सामाजिक व शेक्षणिक संस्थाओं के अलावा व्यक्तिगत लोगो द्वारा इफ्तार का आयोजन का सीलसीला जारी है।    इस सीलसीले के तहत सीकर शहर मे आज इतवार को सीकर में पंचायत शेखावाटी लीलगरान और युवा कमेटी की तरफ से रोजा इफ्तार पार्टी का आयोजन सय्यदा मस्जिद फतेहपुर रोड़ भैरुपुरा कच्चा रास्ता सीकर में किया गया। ,जिसमे सैकड़ों रोजेदारों ने शिरकत की और प्रदेश में अमन चैन की दुआ मांगी,इफ्तार के बाद मगरिब की नमाज पढ़ी गई।

सुप्रीम कोर्ट के हालिया फैसले मुस्लिम विरोधी हिंसक तत्वों का मनोबल बढ़ाने वाले हैं- शाहनवाज़ आलम

  नयी दिल्ली, 9 मार्च 202 5. न्यायालयों द्वारा पिछले कुछ दिनों से दिए गए विवादित फैसलों से यह संदेश जा रहा है कि मई में आने वाले सुप्रीम कोर्ट के नए मुख्य न्यायाधीश पर आरएसएस और भाजपा अपने सांप्रदायिक एजेंडे के पक्ष में दबाव डालने की रणनीति पर काम कर रहे हैं. सेकुलर सियासी दलों और नागरिक समाज को इन मुद्दों पर मुखर होने की ज़रूरत है. ये बातें अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी के सचिव शाहनवाज़ आलम ने साप्ताहिक स्पीक अप कार्यक्रम की 185 वीं कड़ी में कहीं. शाहनवाज़ आलम ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट के जज का किसी को मियां तियाँ और पाकिस्तानी कहने को अपराध नहीं मानना साबित करता है कि सुप्रीम कोर्ट के कुछ जज मुस्लिम विरोधी हिंसा में हिंसक तत्वों द्वारा प्रतुक्त होने वाली इन टिप्पणियों को एक तरह से वैधता देने की कोशिश कर रहे हैं. इस फैसले के बाद ऐसे तत्वों का न सिर्फ़ मनोबल बढ़ेगा बल्कि वो इसे एक ढाल की तरह इस्तेमाल करेंगे और पुलिस में शिकायत दर्ज कराने जाने वाले पीड़ित मुस्लिमों का मुकदमा भी पुलिस नहीं लिखेगी. शाहनवाज़ आलम ने कहा कि इससे पहले भी मस्जिद के अंदर जबरन घुसकर जय श्री राम के ना...