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भाजपा ने आज 1.25 करोड़ लोगों को रोजगार देने का ऐसा ड्रामा किया जिसकी दूसरी मिसाल मिलना मुश्किल है : अखिलेश यादव


लखनऊ : समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने कहा है कि 70 सालों में जो मुमकिन न हुआ वो भाजपा राज में जुमलों में पूरा हो जाता है। मेहनत कोई करे उसका श्रेय तो उसके जबरन दावेदार को ही दे दिया जाएगा। भाजपा राज में समाजवादी सरकार के समय के कामों पर अपने नाम का ठप्पा लगाकर ही वाहवाही लूटी जाती रही है। कुशीनगर में इंटरनेशनल एयरपोर्ट के लिए समाजवादी सरकार में 200 करोड़ रूपये जमीन खरीदने और 200 करोड़ रूपए रनवे, बाउण्ड्री और अन्य निर्माण हेतु दिया गया। मगर भारत सरकार द्वारा प्रोजेक्ट की मंजूरी मिलने की खब़र को ऐसे प्रचारित किया जा रहा है जैसे उन्होंने ही सब कुछ किया है। ऐसे ही आगरा-लखनऊ एक्सप्रेस-वे के सम्बंध में भी भाजपा ने झूठ का सहारा लिया। एक्सप्रेस-वे समाजवादी सरकार की देन है। भाजपाई जबरन उसे अपने काम में गिनते हैं।
     भाजपा ने आज 1.25 करोड़ लोगों को रोजगार देने का ऐसा ड्रामा किया जिसकी दूसरी मिसाल मिलना मुश्किल है। उत्तर प्रदेश में राज्य सरकार कई इन्वेस्टमेंट मीट करा चुकी, कई एमओयू होने की खब़रे छपीं, लेकिन अभी तक कहीं एक भी कारखाना लगने की सूचना नहीं है। किसी बैंक ने किसी उद्योगपति को लोन नहीं दिया। कहीं भूमि अधिग्रहण की कार्यवाही नहीं शुरू हुई।
      आत्मनिर्भर रोजगार का दूसरा झूठ यह है कि यहां पहले से कुम्हार, हलवाई, राजमिस्त्री आदि अपने धंधे करते रहे हैं। नोटबंदी के बाद लाॅकडाउन ने उनका कामकाज ठप्प कर दिया है। प्रदेश की भाजपा सरकार लघु और छोटे उद्योगों की केवल प्रेस विज्ञप्तियों में चिंता करती है अन्यथा उसका सारा ध्यान बड़े उद्योगपतियों के आवभगत में रहता है। श्रमिकों को एक हजार की राहत देने से उनकी जिंदगी में कौन-बदलाव आएगा? समाजवादी पार्टी के कार्यकर्ता गांव-गांव जानकारी लेंगे कि कहाँ-किसे भाजपा सरकार में काम मिला है?
      रोजगार के लिए जब तक उचित वातावरण नहीं बनेगा कोई उद्योगपति उत्तर प्रदेश में क्यों आएगा? यहां जीएसटी, नोटबंदी, लाॅकडाउन के अलावा कानून व्यवस्था की बिगड़ी स्थिति चिंता पैदा करती है। उत्तर प्रदेश को योगी सरकार ने हत्या प्रदेश बना दिया है। अपराधों से लोग आतंकित है। बिजली-पानी का भी प्रदेश में संकट है। भाजपा सरकार में एक यूनिट बिजली का उत्पादन नहीं हुआ। जो बिजलीघर बने हैं समाजवादी सरकार के समय के हैं। नौकरशाही प्रदेश के विकास में बड़ी बाधा है।
      रोजगार के झूठे दावों की वजह से ही भाजपा सरकार आज तक नए औद्योगिक संस्थानों का ब्योरा नहीं दे पाई है। नौजवानों को रोजगार नहीं मिलने से उनके सामने भविष्य का अंधेरा है। जब पहले से ही युवा बेरोजगार घूम रहा है तब दूसरे प्रदेशों से आए युवाओं को कहां रोजगार मिल पाएगा? जब बड़े संस्थान नहीं तो कुशल कार्मिको को कहां नौकरी मिलेगी? अंततः उन्हें वापस फिर दूसरे प्रदेशों में जाना पड़ेगा। स्थानीय कारीगरों के लाभ के लिए समाजवादी सरकार में लखनऊ में अवध शिल्पग्राम की स्थापना की गई थीं भाजपा सरकार के समय वहां सन्नाटा पसरा रहता है। सिंगल अथवा डबल इंजन की सरकारें सिर्फ सपने दिखाने और लोगों को बहकाने में माहिर है। भाजपा को अब धोखा देने की सीमा तय कर लेनी चाहिए। संकट बढ़ता जा रहा है, मर्ज बढ़ता जा रहा है। आज राज्य सरकार दिलासा देकर दिन काट रही है।


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