ऋषि कपूर सकारात्मकता से लबालब भरे थे : त्रेहन

मुंबई, :: बॉलीवुड के दिग्गज अभिनेता ऋषि कपूर कभी भी अपनी बीमारी का जिक्र नहीं करते थे, और उनका रवैया हमेशा सकारात्मक होता था।


कपूर की आखिरी फिल्म 'शर्माजी नमकीन' के निर्माता हनी त्रेहन ने उनके साथ किए गए काम को याद करते हुए यह बात कही ।


मुंबई स्थित एच एन रिलायंस अस्पताल में 30 अप्रैल को कपूर का निधन हो गया था। वह 67 साल के थे और दो साल से ल्यूकेमिया से पीड़ित थे ।


फिल्म का निर्माण एक्सेल एंटरटेनमेंट ने त्रेहन और अभिषेक चौबे के सहयोग से मैक्गुफीन पिक्चर्स के बैनर तले किया है और इसका निर्देशन हितेश भाटिया ने किया है ।


त्रेहन ने  एक साक्षात्कार में कहा, ‘‘यह साठ साल के एक व्यक्ति की कहानी है। यह मध्यम वर्ग के एक व्यक्ति की कहानी है जो सेवानिवृत्ति के बाद जीवन की खोज करना चाहता है। यह फिल्म उन्हीं (कपूर) के लिए थी, वह इस फिल्म का डीएनए थे।’’ निर्माता ने कहा, ‘‘मैं काफी समय से ऋषि सर के साथ काम करना चाह रहा था और मुझे खुशी है कि इस स्क्रिप्ट ने अच्छी तरह से क्लिक किया।’’


उन्होंने बताया, ‘‘वह बच्चे की तरह थे, वह नए कलाकार की तरह थे। 67 साल की उम्र में भी वह दस से 12 घंटे शूटिंग करते थे। उनमें कभी नकारात्मक विचार नहीं आया। उन्होंने कभी अपनी बीमारी का जिक्र नहीं किया।’’ त्रेहन ने कहा, ‘‘जब भी आप पूछते कि आप कैसा महसूस कर रहे हैं तो वह कहते कि वह कैसे दिख रहे हैं। उनका रवैया बहुत प्रशंसनीय था।’’ यह पूछने पर कि क्या कभी उनके स्वास्थ्य के कारण शूटिंग के कार्यक्रम में बदलाव करना पड़ा, निर्माता ने कहा, ‘‘उन्होंने कभी ऐसा नहीं होने दिया।’’ त्रेहन ने एक घटना का जिक्र करते हुए कहा, ‘‘इस साल मध्य जनवरी में दिल्ली में शूटिंग होनी थी। कपूर को एक दिन पहले ही दिल्ली पहुंचना था और उसी दिन उनकी बहन का निधन हो गया।’’


 


उन्होंने कहा, ‘‘यह परिवार में एक बड़ा हादसा था और वह दिल्ली में थे। हम उनकी सुविधानुसार शूटिंग की तारीख बदलने के बारे में योजना बना रहे थे।’’ निर्माता ने कहा, ‘‘कपूर ने कहा, नहीं एक बात जो मैंने अपने पिता से सीखी है, वह यह है कि काम कभी रुकना नहीं चाहिए।’’ 


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