जयपुर: राजस्थान में कोरोना प्रभावित31 जिलों में इसके मामले चार हजार के पास पहुंच गए लेकिन सैंकड़ों मरीजों के ठीक होने से अब जहां प्रदेश में कोरोना के लगभग पन्द्रह सौ मरीज रह गए हैं वहीं झुंझुनूं एवं हनुमानगढ़ जिले में इसका एक भी मरीज नहीं है।
चिकित्सा विभाग की सुबह जारी रिपोर्ट के अनुसार राज्य में कोरोना के 84 नये मामले सामने आने से इनकी संख्या बढ़कर 3898 पहुंच गई लेकिन प्रदेश में जिस तरह से मरीजों के ठीक होने के मामले बढ़ने से अब अस्पतालों में 1537 मरीज रह गये है। अब तक 2253 मरीज स्वस्थ हो चुके हैं और 1993 मरीजों को अस्पताल से छुट्टी मिल चुकी हैं।
राज्य में झुंझुनूं एवं हनुमानगढ़ जिले ऐसे हैं जहां कोरोना के सभी मरीज ठीक हो गए और उन्हें अस्पताल से छुट्टी दे दी गई। झुंझुनूं में 42 और हनुमानगढ़ में 11 मामले सामने आए थे। राज्य में बूंदी एवं श्रीगंगानगर जिले अभी इससे अछूते हैं। दौसा जिले में 22 में 21 मरीज ठीक हो गए जबकि 20 को छुट्टी मिल गई। जैसलमेर में 35 में 34 ठीक हो गए और 31 घर पहुंच गए। इसी तरह प्रतापगढ़ एवं सवाईमाधोपुर में एक-एक मरीज बचा है। इसके अलावा बीकानेे एवं, चुरू में दो-दो, बांसवाड़ा, बारां,
बाड़मेर एवं करौली में तीन-तीन, सिरोही एवं सीकर में चार-चार, भीलवाड़ा, डूंगरपुर, झालावाड़, में छह-छह, भरतपुर में सात, टोंक में 10, जालौर एवं नागौर में 12, अलवर में 13, धौलपुर में 16 एवं राजसमंद में 18 कोरोना मरीज बचे हैं, जिनके भी शीघ्र स्वस्थ होने की उम्मीद है।
राज्य में सर्वाधिक कोरोना प्रभावित राजधानी जयपुर में अब तक 772 मरीज ठीक हो गए और अब करीब 401 मरीज अस्पताल में रह गये है। हालांकि जयपुर में इससे सबसे ज्यादा 57 लोगों की मौत हो चुकी है। जोधपुर में अब 415 मरीज बचे हैं। जोधपुर में 873 मामले सामने आए जिनमें 441 मरीज ठीक हो गए तथा 438 घर भी पहुंच गये।
राज्य में अजमेर में 226 में 80 मरीज ठीक हुए जिनमें केवल पांच मरीजों को अस्पताल से छुट्टी मिली। चित्तौड़गढ़ में 141 में केवल छह मरीज ठीक हुए हैं। इसी तरह उदयपुर में 173 मामलों में 12 मरीज ठीक हुए तथा तीन को छुट्टी मिली।
राज्य में एक लाख 66 हजार 424 नमूने प्राप्त हुए जिनमें एक लाख 58 हजार 830 की रिपोर्ट नकारात्मक मिली जबकि 3696 की रिपोर्ट आनी शेष है। प्रदेश में कोरोना से 108 लोगों की मौत हो चुकी है।
वक़्फ़ संशोधन बिल के विरोधियों को लखनऊ पुलिस द्वारा भेजा गया नोटिस असंवैधानिक, सुप्रीम कोर्ट ले एक्शन- शाहनवाज़ आलम
नयी दिल्ली, 11 अप्रैल 2025 . कांग्रेस के राष्ट्रीय सचिव शाहनवाज़ आलम ने उत्तर प्रदेश पुलिस पर वक़्फ़ संशोधन विधेयक के खिलाफ विचार रखने वाले नागरिकों के संविधान प्रदत्त अभिव्यक्ति की आज़ादी और विरोध करने के मौलिक अधिकारों के हनन करने का आरोप लगाया है. उन्होंने सुप्रीम कोर्ट से अपने फैसलों की अवमानना पर स्वतः संज्ञान लेकर दोषी पुलिस अधिकारियों के खिलाफ़ कार्यवाई की मांग की है. शाहनवाज़ आलम ने जारी प्रेस विज्ञप्ति में कहा है कि लखनऊ के कई नागरिकों को लखनऊ पुलिस द्वारा उनकी तरफ से वक़्फ़ संशोधन विधेयक के खिलाफ़ होने वाले संभावित प्रदर्शनों में शामिल होने का अंदेशा जताकर उन्हें नोटिस भेजा गया है. जबकि अभी नागरिकों की तरफ से कोई विरोध प्रदर्शन आयोजित हुआ भी नहीं है. सबसे गम्भीर मुद्दा यह है कि इन नोटिसों में नागरिकों को अगले एक साल तक के लिए उनसे शांति भंग का खतरा बताते हुए 50 हज़ार रुपये भी जमा कराने के साथ इतनी धनराशि की दो ज़मानतें भी मांगी जा रही हैं. शाहनवाज़ आलम ने कहा कि यूपी पुलिस यह कैसे भूल सकती है कि उसकी यह कार्यवाई संविधान के अनुच्छेद 19 का उल्लंघन है जो नागर...
टिप्पणियाँ