मऊ : उत्तर प्रदेश बोर्ड की परीक्षा में शामिल हो रहे विद्यार्थियों को कथित तौर पर नकल करने की टिप्स देने वाले और नंबर हासिल करने के लिए उत्तर पुस्तिका के साथ सौ रूपये का नोट रखने की सलाह देने वाले एक स्कूल प्रबंधक को गिरफ्तार कर लिया गया है ।
हरिवंश मेमेरियल इंटर कालेज के प्रबंधक प्रवीण मल्ल का उक्त वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गया है । इसमें वह छात्रों को उत्तर प्रदेश की बोर्ड परीक्षाओं में नंबर हासिल करने के लिए नकल की टिप्स देते दिख रहे हैं ।
मल्ल का यह वीडियो एक छात्र ने चुपके से बना लिया और मुख्यमंत्री कार्यालय को भेज दिया । मल्ल छात्रों को आश्वासन दे रहे हैं कि अगर उन्होंने उनके निर्देशों का पालन किया तो कोई भी फेल नहीं होगा ।
वीडियो पर संज्ञान लेते हुए पुलिस ने मुकदमा दर्ज कर मल्ल को जेल भेज दिया । पुलिस का कहना है कि वीडियो जनवरी का है ।
वीडियो में मल्ल कथित तौर पर यह कहते नजर आ रहे हैं ‘‘आपको अनुशासन बनाये रखना चाहिए । अगर आपके पास कोई चिट मिलती है और आपको चांटा भी पड़ जाता है तो आप चुपचाप हाथ बांधकर खडे़ रहिये तथा एक और चांटे के लिए तैयार रहिये । बहस मत कीजिए और सीधे खडे़ रहिये क्योंकि अध्यापक आपको नुकसान पहुंचा सकता है ।’’
मल्ल ने करीब दो मिनट के वीडियो में कथित तौर पर कहा, 'कोई भी सवाल मत छोडिये । अगर आप सवाल का जवाब लिख रहे हैं तो सौ रूपये का नोट उत्तर पुस्तिका में रख दीजिए । ऐसे में अध्यापक आंख बंद करके आपको नंबर दे देगा । अगर चार नंबर के प्रश्न का आपने गलत उत्तर भी दे दिया तो शिक्षक आपको तीन नंबर दे देगा । आपमें से कोई फेल नहीं होगा ।’’
वक़्फ़ संशोधन बिल के विरोधियों को लखनऊ पुलिस द्वारा भेजा गया नोटिस असंवैधानिक, सुप्रीम कोर्ट ले एक्शन- शाहनवाज़ आलम
नयी दिल्ली, 11 अप्रैल 2025 . कांग्रेस के राष्ट्रीय सचिव शाहनवाज़ आलम ने उत्तर प्रदेश पुलिस पर वक़्फ़ संशोधन विधेयक के खिलाफ विचार रखने वाले नागरिकों के संविधान प्रदत्त अभिव्यक्ति की आज़ादी और विरोध करने के मौलिक अधिकारों के हनन करने का आरोप लगाया है. उन्होंने सुप्रीम कोर्ट से अपने फैसलों की अवमानना पर स्वतः संज्ञान लेकर दोषी पुलिस अधिकारियों के खिलाफ़ कार्यवाई की मांग की है. शाहनवाज़ आलम ने जारी प्रेस विज्ञप्ति में कहा है कि लखनऊ के कई नागरिकों को लखनऊ पुलिस द्वारा उनकी तरफ से वक़्फ़ संशोधन विधेयक के खिलाफ़ होने वाले संभावित प्रदर्शनों में शामिल होने का अंदेशा जताकर उन्हें नोटिस भेजा गया है. जबकि अभी नागरिकों की तरफ से कोई विरोध प्रदर्शन आयोजित हुआ भी नहीं है. सबसे गम्भीर मुद्दा यह है कि इन नोटिसों में नागरिकों को अगले एक साल तक के लिए उनसे शांति भंग का खतरा बताते हुए 50 हज़ार रुपये भी जमा कराने के साथ इतनी धनराशि की दो ज़मानतें भी मांगी जा रही हैं. शाहनवाज़ आलम ने कहा कि यूपी पुलिस यह कैसे भूल सकती है कि उसकी यह कार्यवाई संविधान के अनुच्छेद 19 का उल्लंघन है जो नागर...
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