सहकारिता के माध्यम से किसानों को लाभान्वित करने का काम किया जा रहा है - मुकुट बिहारी वर्मा


लखनऊः  उत्तर प्रदेश के वित्त, संसदीय कार्य एवं चिकित्सा शिक्षा मंत्री  सुरेश कुमार खन्ना ने कहा कि व्यक्ति अपना कैरेक्टर रोल खुद लिखता है। व्यक्ति की प्रतिष्ठा एवं ख्याति उसकी उम्र से बड़ी होती है। उसकी ख्याति उसके संस्था, समाज, शहर और परिवार के काम आती है। सरकार का उद्देश्य है कि समाज के अंतिम सीढ़ी पर बैठे व्यक्ति की जिंदगी को आसान बनाया जाए, इस दिशा में सरकार हर सकारात्मक कदम उठा रही है।

यह विचार वित्त एवं संसदीय कार्य मंत्री श्री सुरेश खन्ना आज यहां इन्दिरा गांधी प्रतिष्ठान में 66वें अखिल भारतीय सहकारिता सप्ताह 2019 के समापन दिवस एवं उ0प्र0 को-आपरेटिव बैंक के 75 वर्ष पूरे होने पर आयोजित प्लेटिनम जुबली समारोह के अवसर पर फाइनेन्सियल इन्क्लूजन टेक्नोलाॅजी एडाप्शन एण्ड डिजिटिलाइेजेशन थ्रू को-आपरेटिव विषय पर गोष्ठी में मुख्य अतिथि के रूप में व्यक्त किए। उन्होने उत्तर प्रदेश को-आपरेटिव बैंक के कार्यों पर संतोष व्यक्त करते हुए कहा कि वर्तमान सरकार के गठन के बाद से इसमें काफी सुधार हुआ है और इसके डिपॉजिट एवं ऋण वितरण का ग्राफ ऊपर बड़ा है। सहकारिता के विकास हेतु सरकार के सहकारिता मंत्री द्वारा 1400 करोड़ रुपये की सरकार से सहायता की अपेक्षा पर वित्त मंत्री ने कहा कि यह सही है कि पैसे से बहुत-सी चीजों को बेहतर बनाया जा सकता है। हमारा लक्ष्य ऊपर बढ़ने का है और हम लगातार प्रगति की कल्पना कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि इसके लिए सरकार प्रयास करेगी, जो भी संभव होगा वह आवश्यक कदम उठाएगी। 

श्री सुरेश कुमार खन्ना ने उत्तर प्रदेश को-आपरेटिव बैंक के कर्मचारियों से प्रश्न करते हुए कहा कि इस प्रश्न को स्वयं से पूछ कर स्वयं को ही जवाब दीजिएगा और मूल्यांकन करिए कि जिस आशा उद्देश्य और लक्ष्य को लेकर आपने बैंक ज्वाइन किया था, उस लक्ष्य में आपने अपने कार्यों में उत्तरोत्तर कितनी वृद्धि की एवं उसका परिणाम क्या रहा। उन्होंने कहा कि आपसे अपने कार्यों के लिए जितने लोग मिलते हैं और जितना अधिक संतुष्ट होते हैं उतना ही आपका व्यापार आगे बढ़ता है। उन्होंने सहकारिता आंदोलन के उद्देश्य से  सहमत होते हुए कहा कि इसके सहयोग के लिए हर उचित एवं आवश्यक कदम उठाए जाएंगे। उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश को ऑपरेटिव बैंक को प्रदेश के बैंक के रूप में ख्याति बढ़ाने के लिए सभी लोग पूरी ईमानदारी के साथ प्रयास करें। इसके लिए आवश्यक है की कार्य व्यवहार को अच्छा बनाया जाए और सभी कर्मचारियों द्वारा बैंक के लक्ष्य एवं उद्देश्यों के अनुसार काम करने पर ध्यान दिया जाए। जिससे इस बैंक की ख्याति पूरे देश में फैले।

इस अवसर पर उ0प्र0 के सहकारिता मंत्री श्री मुकुट बिहारी वर्मा ने कहा कि लगभग 85 प्रतिशत आबादी किसान है और सीधे किसानों को कोई लाभ दे रहा है, तो वह है सहकारिता विभाग और सहकारिता आन्दोलन। इसलिए मैं सहकारिता आन्दोलन को ईश्वरीय कार्य मानता हूं इस कार्य को जितना अच्छे ढंग से किया जायेगा ईश्वर उतना ही प्रसन्न होगा। यू.पी.सी0बी0 की 27 शाखाये और 1260 जिला सहकारी बैक शाखाएं कम्प्यूटराईज हो गयी है। इन संस्थाओं का समस्त कार्य कलाप आॅनलाइन सिस्टम के तहत किया जा रहा है। उ0प्र0 को-आपरेटिव बैंक लि0 आपने आईएफएस कोड के माध्यम से आर.टी.जी.एस./एन.ई.एफ.टी. सुविधा प्रदान की जा रही है। उन्होने कहा कि वर्तमान में सहकारी बैंको के 145 ए0टी0एम0 तथा 1097 माइक्रो ए0टी0एम0संचालित है। भाविष्य में सभी 1287 शाखाओं में ए0टी0एम0/रिसाईकिलर लगाये जायेगें तथा 1287 शाखाओं से सम्बद्व 7479 पैक्स से जुडे सभी सदस्यों को डिजिटल बैंकिंग की सुविधाये प्रदान की जायेगी तथा प्रारभिक कृषि ऋण सहकारी समितियों को शीघ्र ही जन सुविधा केन्द्र बनाते हुए बैंकिंग सर्विस सेन्टर के रूप मंे विकसित कर जन सामान्य को बैंकिंग सुविधाये प्रदान की जायेगी। 

श्री वर्मा ने कहा कि प्रारम्भिक कृषि ऋण सहकारी समितियांे को कम्प्यूटराइज्ड करने का काम किया जा रहा है। समितियों को अधिक मजबूत करने का काम किया जा रहा है। किसानों की आय दोगुना करने के लिए हर संभव प्रयास किये जा रहे है। कृषि देश और प्रदेश की अर्थव्यवस्था की रीढ़ है। किसानों को खुशहाल करके ही हम देश की समृद्धि कर सकते हैं। वर्तमान सरकार द्वारा को-आपरेटिव तंत्र को मजबूत करने का काम किया जा रहा है।

यू.पी.सी.बी. के सभापति श्री तेजबीर सिंह ने कहा कि कमजोर जिला सहकारी बैंक का संचालन सही ढंग से हो इसके लिए ठोस कदम उठाये जा रहे हैं। सहकारिता के माध्यम से किसानों एवं निर्बल वर्ग की सेवा करने का काम किया जा रहा है। सभी लोगों को मिलकर सहकारिता को निरन्तर प्रगति की ओर ले जाने काम किया जाना चाहिए।

प्रमुख सचिव सहकारिता श्री एम.बी.एस. रामा रेड्डी ने कहा कि वर्ष 1944 से प्रारम्भ हुए इस बैंक द्वारा अपनी स्थापना के 75 गौरवशाली वर्ष पूर्ण करते हुए प्रदेश के दूरस्थ अंचलों तक कृषकों, मजदूरों तथा समाज के आर्थिक रूप से पिछड़े व्यक्तियों को निरन्तर सहकारी समितियों के माध्यम से जोड़कर वित्तीय सुविधाएं दिए जाने का प्रयास किया जा रहा है। 31 अक्टूबर, 2019 का बैंक के निक्षेप 7121 करोड़ रुपये तथा ऋण वितरण 7037.50 करोड़ रुपये हो गया है। बैंक द्वारा वर्ष 2018-19 में 33.74 लाख मै0टन उर्वरक कृषकों को वितरित किया गया एवं प्रधान मंत्री किसान सम्मान निधि के अंतर्गत कुल 219626 लघु एवं सीमान्त किसानों हेतु 51.39 रुपये करोड़ की धनराशि हस्तान्तरित की गयी। 

इस अवसर पर आयुक्त एवं निबन्धक श्री एस.बी.एस. रंगाराव, अपर आयुक्त एवं अपर निबन्धक सहकारिता श्री आन्द्रा वामसी, श्री हीरालाल, यू0पी0सी0बी0 के प्रबन्ध निदेशक श्री भूपेन्द्र कुमार, शीर्ष सहकारी संस्थाओं के प्रबन्ध निदेशक, जिला सहकारी बैंकों के सचिव/मुख्य कार्यपालक अधिकारी सहित सहकारी बन्धु आदि उपस्थित थे।

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