चंडीगढ़, - गुरदासपुर लोकसभा सीट से भाजपा प्रत्याशी के तौर पर चुनाव लड़ रहे बॉलीवुड अभिनेता सनी देओल ने सपत्नी अपनी कुल संपत्ति की घोषणा करते हुए इसे 87.18 करोड़ रुपये बताया है।
सनी देओल का वास्तविक नाम अजय सिंह देओल है। उन्होंने सोमवार को चुनाव आयोग को अपने नामांकन पत्र के साथ दिए हलफनामे में संपत्ति की घोषणा की।
संपत्ति और देनदारियों पर उनके हलफनामे से यह पता चलता है कि 2017-18 में उनकी कुल आय 63.82 लाख रुपये, 2016-17 में 96.29 लाख रुपये और 2015-16 में 2.25 करोड़ रुपये थी। उन्होंने सपत्नी अपनी संपत्ति 87.18 करोड़ रुपये बतायी है।
हलफनामे के अनुसार उनकी कुल चल एवं अचल संपत्ति क्रमश: 60.46 करोड़ रुपये और 21 करोड़ रुपये है।
देओल ने अपना पेशा फिल्म उद्योग में अभिनेता, निर्देशक और निर्माता बताया है। उन्होंने 26 लाख रुपये नकद और अपनी पत्नी के पास 16 लाख रुपये नकद की जानकारी दी है।
चल संपत्ति में देओल ने क्रमश: 9.36 लाख रुपये और 1.43 करोड़ रुपये की जानकारी दी है।
अपने हलफनामे में उन्होंने 1.69 करोड़ के वाहन की घोषणा की है। उन्होंने वाहनों के बारे में विस्तृत जानकारी नहीं दी है।
उन्होंने अपनी पत्नी के पास मौजूद 1.56 करोड़ रुपये के सोने के आभूषण की घोषणा की है। उन्होंने कहा कि उनके पास ऐसा कोई निजी आभूषण नहीं है।
अचल संपत्ति में अभिनेता ने कृषि भूमि, गैर कृषि भूमि और मुंबई के ओशिवारा परिसर में 21 करोड़ रुपये के एक फ्लैट की घोषणा की है।
देओल ने अपने ऊपर 51.79 करोड़ रुपये की देनदारियों की घोषणा की है। इनमें सरकारी देनदारी 2.49 करोड़ रुपये की है।
अपनी शैक्षणिक योग्यता को लेकर अभिनेता ने बताया है कि उन्होंने बर्मिंघम (ब्रिटेन) के द ओल्ड रिप (रिपर्टरी) थिएटर से 1977-78 में अभिनय एवं थिएटर में डिप्लोमा किया है।
उन्होंने अपना पता मुंबई में धर्मेंद्र हाउस, विले पार्ले बताया है।
गुरदासपुर में भाजपा प्रत्याशी के तौर पर देओल मौजूदा कांग्रेस सांद एवं पार्टी उम्मीदवार सुनील जाखड़, आप के पीटर मसीह और पीडीए के लाल चंद से मुकाबला करेंगे।
पंजाब की 13 लोकसभा सीटों पर लोकसभा चुनाव के सातवें एवं अंतिम चरण में 19 मई को मतदान होगा।
वक़्फ़ संशोधन बिल के विरोधियों को लखनऊ पुलिस द्वारा भेजा गया नोटिस असंवैधानिक, सुप्रीम कोर्ट ले एक्शन- शाहनवाज़ आलम
नयी दिल्ली, 11 अप्रैल 2025 . कांग्रेस के राष्ट्रीय सचिव शाहनवाज़ आलम ने उत्तर प्रदेश पुलिस पर वक़्फ़ संशोधन विधेयक के खिलाफ विचार रखने वाले नागरिकों के संविधान प्रदत्त अभिव्यक्ति की आज़ादी और विरोध करने के मौलिक अधिकारों के हनन करने का आरोप लगाया है. उन्होंने सुप्रीम कोर्ट से अपने फैसलों की अवमानना पर स्वतः संज्ञान लेकर दोषी पुलिस अधिकारियों के खिलाफ़ कार्यवाई की मांग की है. शाहनवाज़ आलम ने जारी प्रेस विज्ञप्ति में कहा है कि लखनऊ के कई नागरिकों को लखनऊ पुलिस द्वारा उनकी तरफ से वक़्फ़ संशोधन विधेयक के खिलाफ़ होने वाले संभावित प्रदर्शनों में शामिल होने का अंदेशा जताकर उन्हें नोटिस भेजा गया है. जबकि अभी नागरिकों की तरफ से कोई विरोध प्रदर्शन आयोजित हुआ भी नहीं है. सबसे गम्भीर मुद्दा यह है कि इन नोटिसों में नागरिकों को अगले एक साल तक के लिए उनसे शांति भंग का खतरा बताते हुए 50 हज़ार रुपये भी जमा कराने के साथ इतनी धनराशि की दो ज़मानतें भी मांगी जा रही हैं. शाहनवाज़ आलम ने कहा कि यूपी पुलिस यह कैसे भूल सकती है कि उसकी यह कार्यवाई संविधान के अनुच्छेद 19 का उल्लंघन है जो नागर...
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